Newchecker.in is an independent fact-checking initiative of NC Media Networks Pvt. Ltd. We welcome our readers to send us claims to fact check. If you believe a story or statement deserves a fact check, or an error has been made with a published fact check
Contact Us: checkthis@newschecker.in
Fact Check
मध्य प्रदेश के खरगोन में हुई सांप्रदायिक हिंसा से जोड़कर सोशल मीडिया पर एक वीडियो वायरल हो रहा है. वीडियो में एक पुलिसकर्मी कुछ महिलाओं को एक गाड़ी में बैठाता नजर आ रहा है. दावा किया जा रहा है कि वीडियो खरगोन का है जहां, पुलिस ने हिंदुओं पर पत्थर व पेट्रोल बम फेंकने वाली मुस्लिम महिलाओं को जेल भेज दिया.
InVid टूल की मदद से खोजने पर हमें यह वीडियो एक फेसबुक पेज पर मिला, जहां इसे 15 अप्रैल 2020 को अपलोड किया गया था. यहां वीडियो को उत्तर प्रदेश के मुरादाबाद का बताया गया था.
इसके बाद कुछ कीवर्ड्स की मदद से खोजने पर हमें यह वीडियो इंडिया ब्लूम्स न्यूज सर्विस नाम के एक यूट्यूब चैनल पर मिला. यहां भी वीडियो को मुरादाबाद का बताते हुए 15 अप्रैल 2020 को अपलोड किया गया था. साथ में यह भी लिखा गया था कि मुरादाबाद में डॉक्टरों और स्वास्थ्यकर्मियों की एक टीम पर हमला हुआ, जब वो कोरोना से मृत एक व्यक्ति के संपर्क में आए लोगों को क्वारंटीन सेंटर ले जा रहे थे.
इस मामले को लेकर मीडिया संस्था एनडीटीवी ने भी उस समय एक खबर प्रकाशित की थी. इस खबर में वायरल वीडियो को देखा जा सकता है. यह मामला मुरादाबाद की नवाबपुरा कॉलोनी का था. खबर के अनुसार, जब स्वास्थ्यकर्मियों की टीम कोरोना के संदिग्ध मरीजों को लेने आई तब लोगों ने उन पर पत्थर और ईटें फेंकना शुरू कर दिया. इस दौरान पुलिस की टीम पर भी हमला हुआ था. बाद में पुलिस ने 7 महिलाओं और 10 पुरुषों को गिरफ्तार किया था. यह वीडियो इसी मामले से जुड़ा है.
पड़ताल में यह स्पष्ट हो जाता है कि यूपी के एक दो साल पुराने वीडियो को खरगोन हिंसा से जोड़कर भ्रम फैलाया जा रहा है.
यदि आपको यह फैक्ट चेक पसंद आया है और आप इस तरह के और फैक्ट चेक पढ़ना चाहते हैं तो यहां क्लिक करें।
किसी संदिग्ध ख़बर की पड़ताल, संशोधन या अन्य सुझावों के लिए हमें WhatsApp करें: 9999499044 या ई-मेल करें: checkthis@newschecker.in
JP Tripathi
June 22, 2024
Runjay Kumar
April 19, 2024
Shubham Singh
February 3, 2023